भारतीय राजनीतिक प्रक्रम को दबाव समूह किस प्रकार प्रभावित करते हैं? क्या आप इस मत से सहमत हैं कि हाल के वर्षों में अनौपचारिक दबाव समूह, औपचारिक दबाव समूहों की तुलना में ज्यादा शक्तिशाली रूप में उभरे हैं? (150 words) [UPSC 2017]
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दबाव समूह और भारतीय राजनीतिक प्रक्रम
दबाव समूह भारतीय राजनीतिक प्रक्रम को विभिन्न तरीकों से प्रभावित करते हैं:
1. नीतिगत प्रभाव: दबाव समूह सरकार और राजनीतिक दलों पर नीतिगत फैसलों को प्रभावित करने का दबाव डालते हैं। उदाहरण के लिए, किसान संघ और संघटन कृषि नीतियों में बदलाव के लिए प्रभावशाली रहे हैं।
2. जनमत निर्माण: ये समूह जनमत को आकार देते हैं और सार्वजनिक मुद्दों पर सचेतता फैलाते हैं, जिससे सरकार की नीतियों पर प्रभाव पड़ता है।
3. लॉबीइंग और शिष्टाचार: दबाव समूह अक्सर लॉबीइंग और शिष्टाचार के माध्यम से अपने मुद्दों को प्रमुखता दिलाते हैं, जिससे सरकार की प्राथमिकताओं पर असर पड़ता है।
अनौपचारिक बनाम औपचारिक दबाव समूह: हाल के वर्षों में, अनौपचारिक दबाव समूह, जैसे कि सोशल मीडिया के माध्यम से सक्रिय ऑनलाइन मोर्चे और अदृश्य नेटवर्क, औपचारिक दबाव समूहों की तुलना में ज्यादा प्रभावशाली हो गए हैं। ये समूह त्वरित और व्यापक जन समर्थन प्राप्त करने में सक्षम हैं, और इसी कारण से अधिक शक्ति और प्रभाव के रूप में उभरे हैं।