भारत में आई.टी. & बी.पी.एम. (बिजनेस प्रॉसेस मैनेजमेंट) उद्योग की स्थिति का संक्षिप्त विवरण दीजिए। साथ ही, विभिन्न भारतीय शहरों में आई.टी. हब की अवस्थिति का निर्धारण करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाने वाले कारकों पर चर्चा कीजिए। (250 शब्दों में उत्तर दीजिए)
**भारत में आई.टी. और बी.पी.एम. उद्योग की स्थिति:**
भारत का आई.टी. और बी.पी.एम. (बिजनेस प्रॉसेस मैनेजमेंट) उद्योग वैश्विक स्तर पर प्रमुख स्थान रखता है। यह क्षेत्र देश की अर्थव्यवस्था में महत्वपूर्ण योगदान करता है और विदेशी मुद्रा अर्जन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।
1. **वृद्धि और विकास**: भारत का आई.टी. और बी.पी.एम. उद्योग विश्व के सबसे तेजी से विकसित होने वाले सेक्टरों में से एक है। 2024 तक, भारतीय आई.टी. उद्योग की अनुमानित वृद्धि $250 अरब से अधिक हो सकती है। बी.पी.एम. क्षेत्र भी तेजी से बढ़ रहा है, जिसमें क्लाउड सेवाएँ, आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI), और डेटा एनालिटिक्स शामिल हैं।
2. **नौकरियों का सृजन**: यह उद्योग लाखों रोजगार अवसर प्रदान करता है और युवा पेशेवरों के लिए एक महत्वपूर्ण रोजगार क्षेत्र है।
3. **आयात और निर्यात**: भारत का आई.टी. और बी.पी.एम. उद्योग वैश्विक बाजार में प्रमुख निर्यातक है, खासकर अमेरिका, यूरोप और एशिया के देशों के लिए।
**आई.टी. हब की अवस्थिति में महत्वपूर्ण कारक:**
1. **शिक्षा और कौशल**: आई.टी. हब की सफलता में स्थानीय शिक्षा संस्थानों की गुणवत्ता और तकनीकी कौशल की उपलब्धता महत्वपूर्ण होती है। बेंगलुरु, हैदराबाद, और पुणे जैसे शहरों में कई शीर्ष तकनीकी संस्थान हैं।
2. **वेतन और जीवन यापन की लागत**: कम वेतन और जीवन यापन की लागत वाले शहरों में आई.टी. कंपनियाँ अपने संचालन को महंगे शहरों की तुलना में अधिक प्रतिस्पर्धी बना सकती हैं। चेन्नई और अहमदाबाद जैसे शहर इसमें शामिल हैं।
3. **इन्फ्रास्ट्रक्चर**: एक अच्छा आई.टी. हब शहर में उन्नत इंफ्रास्ट्रक्चर, जैसे कि उच्च गति इंटरनेट, सस्ती और सुलभ परिवहन सुविधाएँ, और आधुनिक कार्यालय भवन होना चाहिए।
4. **सरकारी नीतियाँ और प्रोत्साहन**: राज्य सरकारें और केंद्र सरकार आई.टी. क्षेत्र को प्रोत्साहित करने के लिए विशेष नीतियाँ और प्रोत्साहन प्रदान करती हैं। उदाहरण के लिए, बेंगलुरु और हैदराबाद में विशेष आर्थिक क्षेत्र (SEZ) और आई.टी. पार्कों की स्थापना ने इस क्षेत्र को बढ़ावा दिया है।
5. **लॉजिस्टिक सपोर्ट**: बेहतर लॉजिस्टिक और परिवहन नेटवर्क भी आई.टी. हब के विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।
इन कारकों के संयोजन से भारत के विभिन्न शहरों में आई.टी. हब का विकास हुआ है, जो देश को वैश्विक आई.टी. और बी.पी.एम. उद्योग में प्रमुख स्थान पर ले जा रहा है।
भारत में आई.टी. और बी.पी.एम. उद्योग की स्थिति:
भारत का आई.टी. और बी.पी.एम. (बिजनेस प्रॉसेस मैनेजमेंट) उद्योग वैश्विक स्तर पर महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। यह उद्योग 1990 के दशक की शुरुआत से तेजी से विकसित हुआ है और अब वैश्विक आई.टी. आउटसोर्सिंग और बी.पी.एम. सेवाओं में एक प्रमुख खिलाड़ी है। भारत के आई.टी. उद्योग ने सॉफ्टवेयर डेवलपमेंट, सिस्टम इंटीग्रेशन, कस्टमर सपोर्ट, और अन्य प्रौद्योगिकी सेवाओं में उत्कृष्टता हासिल की है। बी.पी.एम. सेक्टर, जिसमें व्यापार प्रक्रियाओं की आउटसोर्सिंग शामिल है, ने भी दुनिया भर की कंपनियों के लिए सेवाएँ प्रदान की हैं, जिससे भारत को वैश्विक बाजार में महत्वपूर्ण स्थान मिला है।
भारत में आई.टी. और बी.पी.एम. उद्योग के प्रमुख केंद्र हैं बेंगलुरु, हैदराबाद, पुणे, चेन्नई, और नोएडा। ये शहर न केवल तकनीकी कौशल और उन्नत सुविधाओं के लिए प्रसिद्ध हैं, बल्कि ये कुछ महत्वपूर्ण कारकों के कारण भी प्रमुख आई.टी. हब बने हैं:
आई.टी. हब की अवस्थिति में महत्वपूर्ण कारक:
इन कारकों ने भारत को आई.टी. और बी.पी.एम. उद्योग में एक वैश्विक नेता बनने में मदद की है, और देश के विभिन्न शहरों को इन उद्योगों के प्रमुख केंद्र के रूप में स्थापित किया है।