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उत्तर प्रदेश में शिक्षित बेरोजगारी के मुददे की आलोचनात्मक व्याख्या कीजिये। (200 Words) [UPPSC 2019]
उत्तर प्रदेश में शिक्षित बेरोजगारी: आलोचनात्मक व्याख्या 1. शिक्षित बेरोजगारी की प्रकृति और पैमाना: उच्च शिक्षित बेरोजगारी दर: उत्तर प्रदेश (U.P.) में शिक्षित बेरोजगारी एक गंभीर समस्या है। राज्य में एक बड़ी संख्या में स्नातक और स्नातकोत्तर डिग्री धारक युवा उपयुक्त रोजगार की तलाश में हैं। हाल ही में,Read more
उत्तर प्रदेश में शिक्षित बेरोजगारी: आलोचनात्मक व्याख्या
1. शिक्षित बेरोजगारी की प्रकृति और पैमाना:
2. कारण और प्रभाव:
3. हालिया पहल और उनका प्रभाव:
4. सुझाव:
संक्षेप में, उत्तर प्रदेश में शिक्षित बेरोजगारी एक जटिल समस्या है। कौशल-रोजगार असंगति, आर्थिक ढांचा, और संरचनात्मक निवेश की कमी इस मुद्दे के प्रमुख कारण हैं। इन समस्याओं का समाधान करने के लिए प्रभावी नीतियों और योजनाओं की आवश्यकता है।
See lessउत्तर प्रदेश में ग्रामीण विकास हेतु गैर-सरकारी संगठनों (N.G.Os.) की भूमिका का परीक्षण कीजिये। (125 Words) [UPPSC 2020]
गैर-सरकारी संगठनों (N.G.Os.) की भूमिका ग्रामीण विकास में परिचय: गैर-सरकारी संगठन (NGOs) उत्तर प्रदेश में ग्रामीण विकास में सरकारी प्रयासों को पूरक भूमिका निभाते हैं। समुदायों को सशक्त करना: NGOs शिक्षा, स्वास्थ्य सेवाएं, और कौशल विकास कार्यक्रम प्रदान करके ग्रामीण समुदायों को सशक्त करते हैं। उदाहरणRead more
गैर-सरकारी संगठनों (N.G.Os.) की भूमिका ग्रामीण विकास में
परिचय:
गैर-सरकारी संगठन (NGOs) उत्तर प्रदेश में ग्रामीण विकास में सरकारी प्रयासों को पूरक भूमिका निभाते हैं।
समुदायों को सशक्त करना:
NGOs शिक्षा, स्वास्थ्य सेवाएं, और कौशल विकास कार्यक्रम प्रदान करके ग्रामीण समुदायों को सशक्त करते हैं। उदाहरण के रूप में, Pratham जैसे NGOs ने ग्रामीण युवाओं के साक्षरता दरों को सुधारने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।
आजीविका अवसरों को बढ़ावा देना:
NGOs माइक्रोफाइनेंस और प्रशिक्षण कार्यक्रम जैसे माध्यमों से आजीविका विविधीकरण को बढ़ावा देते हैं। Self-Employed Women’s Association (SEWA) जैसे संगठनों ने उद्यमिता के माध्यम से उत्तर प्रदेश की ग्रामीण महिलाओं को सशक्त किया है।
सचेतना और जागरूकता:
NGOs पर्यावरण संरक्षण और लिंग समानता जैसे सामाजिक मुद्दों पर जागरूकता बढ़ाते हैं। भारतीय किसान संघ ने किसानों के अधिकारों के लिए समर्थन करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।
निष्कर्ष:
See lessसार्वजनिक क्षेत्र में संगठनों के लिए रामबाण होते हुए, उत्तर प्रदेश में ग्रामीण विकास के लिए कैटलिस्ट्स के रूप में काम कर रहे हैं, जो अंतरिक्ष को पूरा करते हैं और दीर्घकालिक प्रगति को बढ़ावा देते हैं।
'स्मार्ट सिटी मिशन' क्या है? पूर्वी उत्तर प्रदेश में इस योजना हेतु चुने गये नगरों की प्रमुख विशेषताओं की विवेचना कीजिये। (125 Words) [UPPSC 2020]
स्मार्ट सिटी मिशन': स्मार्ट सिटी मिशन, भारत सरकार द्वारा 2015 में शुरू की गई योजना है, जिसका उद्देश्य शहरों की आधारभूत सुविधाओं को आधुनिक बनाना और जीवन स्तर को सुधारना है। इस मिशन के तहत, चयनित शहरों में स्मार्ट इंफ्रास्ट्रक्चर, बेहतर परिवहन, स्वच्छता, ऊर्जा दक्षता, और आईटी-संचालित सेवाओं का सुधार कRead more
स्मार्ट सिटी मिशन’:
स्मार्ट सिटी मिशन, भारत सरकार द्वारा 2015 में शुरू की गई योजना है, जिसका उद्देश्य शहरों की आधारभूत सुविधाओं को आधुनिक बनाना और जीवन स्तर को सुधारना है। इस मिशन के तहत, चयनित शहरों में स्मार्ट इंफ्रास्ट्रक्चर, बेहतर परिवहन, स्वच्छता, ऊर्जा दक्षता, और आईटी-संचालित सेवाओं का सुधार किया जाता है।
पूर्वी उत्तर प्रदेश में चुने गये नगरों की प्रमुख विशेषताएँ:
वाराणसी: धार्मिक और सांस्कृतिक महत्व वाला शहर है। स्मार्ट सिटी मिशन के तहत बेहतर यातायात प्रबंधन, डिजिटल सेवाएँ, और स्वच्छता अभियानों पर ध्यान दिया जाएगा।
गोरखपुर: औद्योगिक और शैक्षणिक केंद्र। यहाँ स्मार्ट ट्रांसपोर्ट, जल आपूर्ति सुधार, और ऊर्जा दक्षता पर जोर दिया जाएगा।
अयोध्या: ऐतिहासिक स्थल, जिसमें स्मार्ट कनेक्टिविटी, सार्वजनिक सुरक्षा और आधारभूत सुविधाओं के सुधार पर ध्यान केंद्रित किया जाएगा।
इन नगरों के चयन का उद्देश्य उनकी मौजूदा समस्याओं का समाधान और निवासियों के जीवन स्तर में सुधार लाना है।
See lessउत्तर प्रदेश में स्वास्थ्य सेवाओं के प्रबन्धन से सम्बन्धित विभिन्न पहलुओं की व्याख्या कीजिए। (200 Words) [UPPSC 2023]
उत्तर प्रदेश में स्वास्थ्य सेवाओं के प्रबंधन से संबंधित विभिन्न पहलुओं की व्याख्या निम्नलिखित है: स्वास्थ्य अवसंरचना: उत्तर प्रदेश में स्वास्थ्य सेवाओं का व्यापक नेटवर्क है, जिसमें जिला अस्पताल, सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र (सीएचसी), प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र (पीएचसी), और उप-केंद्र शामिल हैं। इस अवसंरRead more
उत्तर प्रदेश में स्वास्थ्य सेवाओं के प्रबंधन से संबंधित विभिन्न पहलुओं की व्याख्या निम्नलिखित है:
इन पहलुओं को ध्यान में रखते हुए, उत्तर प्रदेश में स्वास्थ्य सेवाओं का प्रबंधन व्यापक दृष्टिकोण और समन्वयात्मक प्रयासों की मांग करता है।
See lessउत्तर प्रदेश स्वास्थ्य नीति 2018 के संदर्भ में चिकित्सा और स्वास्थ्य सेवा क्षेत्र में राज्य सरकार के प्रयासों, पहलों और नीति निर्देशों का परीक्षण कीजिए । (200 Words) [UPPSC 2023]
उत्तर प्रदेश स्वास्थ्य नीति 2018 के संदर्भ में चिकित्सा और स्वास्थ्य सेवा में राज्य सरकार के प्रयासों, पहलों और नीति निर्देशों का परीक्षण परिचय उत्तर प्रदेश स्वास्थ्य नीति 2018 का उद्देश्य राज्य में स्वास्थ्य सेवाओं को बेहतर बनाना, स्वास्थ्य ढांचे को सुदृढ़ करना और सभी नागरिकों को सस्ती स्वास्थ्य सुRead more
उत्तर प्रदेश स्वास्थ्य नीति 2018 के संदर्भ में चिकित्सा और स्वास्थ्य सेवा में राज्य सरकार के प्रयासों, पहलों और नीति निर्देशों का परीक्षण
परिचय
उत्तर प्रदेश स्वास्थ्य नीति 2018 का उद्देश्य राज्य में स्वास्थ्य सेवाओं को बेहतर बनाना, स्वास्थ्य ढांचे को सुदृढ़ करना और सभी नागरिकों को सस्ती स्वास्थ्य सुविधाएं प्रदान करना है। यह नीति विशेष रूप से वंचित और ग्रामीण क्षेत्रों के लिए प्रभावी स्वास्थ्य सेवाएं सुनिश्चित करने पर केंद्रित है।
नीति के प्रमुख उद्देश्य
मुख्य पहल और प्रयास
नीति निर्देश
निष्कर्ष
उत्तर प्रदेश स्वास्थ्य नीति 2018 राज्य सरकार की स्वास्थ्य ढांचे में सुधार, स्वास्थ्य सेवाओं का विस्तार और सार्वजनिक-निजी सहयोग के माध्यम से बेहतर स्वास्थ्य परिणाम प्राप्त करने की प्रतिबद्धता को दर्शाती है। यह नीति सार्वभौमिक स्वास्थ्य कवरेज को प्राप्त करने के लक्ष्य की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।
See lessसंगठित अपराध को रोकने के लिए उत्तर प्रदेश पुलिस 'स्पेशल टास्क फोर्स' की भूमिका का वर्णन कीजिए । (200 Words) [UPPSC 2023]
उत्तर प्रदेश पुलिस की 'स्पेशल टास्क फोर्स' की भूमिका: संगठित अपराध को रोकने में योगदान 1. विशेष कार्य और गठन: उत्तर प्रदेश पुलिस की स्पेशल टास्क फोर्स (STF) को संगठित अपराधों, जैसे हथियारों की तस्करी, ड्रग्स का व्यापार, और मुख्य अपराधियों की गिरफ्तारी के लिए विशेष रूप से गठित किया गया है। STF की स्थRead more
उत्तर प्रदेश पुलिस की ‘स्पेशल टास्क फोर्स’ की भूमिका: संगठित अपराध को रोकने में योगदान
1. विशेष कार्य और गठन: उत्तर प्रदेश पुलिस की स्पेशल टास्क फोर्स (STF) को संगठित अपराधों, जैसे हथियारों की तस्करी, ड्रग्स का व्यापार, और मुख्य अपराधियों की गिरफ्तारी के लिए विशेष रूप से गठित किया गया है। STF की स्थापना 1998 में की गई थी, और इसका उद्देश्य गंभीर और जटिल अपराधों से निपटना है।
2. अनुसंधान और खुफिया संग्रहण: STF उच्च स्तरीय अनुसंधान और खुफिया संग्रहण पर ध्यान केंद्रित करती है। यह विशेष अपराधियों की गतिविधियों पर नज़र रखती है और गुप्त सूचना एकत्र करती है। उदाहरण के लिए, STF ने हाल ही में लखनऊ और वाराणसी में बड़े हथियार तस्कर और ड्रग कार्टेल के रैकेट को उजागर किया है।
3. ऑपरेशन और कार्रवाई: STF विशेष अभियानों और सर्च ऑपरेशनों का संचालन करती है, जो संगठित अपराधियों को पकड़ने में सहायक होते हैं। इसके अंतर्गत, सर्विसलेस बिल्डिंग जैसे ऑपरेशनों में सख्त कार्रवाइयाँ की जाती हैं। STF ने हाल ही में अलीगढ़ में एक बड़े माफिया नेटवर्क को ध्वस्त किया।
4. समन्वय और सहयोग: STF अन्य सुरक्षा एजेंसियों और स्थानीय पुलिस के साथ समन्वय स्थापित करती है, जिससे ऑपरेशनों की प्रभावशीलता बढ़ती है। यह एनसीबी, डीआरआई, और सीबीआई जैसी एजेंसियों के साथ भी सहयोग करती है।
5. प्रशिक्षण और संसाधन: STF को अत्याधुनिक हथियार, तकनीकी उपकरण, और विशेष प्रशिक्षण प्रदान किया जाता है। यह सुनिश्चित करता है कि STF के कर्मी संगठित अपराध के आधुनिक तरीकों और तकनीकों से निपटने में सक्षम हों।
संक्षेप में, उत्तर प्रदेश पुलिस की स्पेशल टास्क फोर्स संगठित अपराधों को रोकने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है। इसकी विशेष कार्यशैली, गुप्त खुफिया जानकारी, और प्रभावी कार्रवाई संगठित अपराधियों पर अंकुश लगाने में सहायक होती है।
See lessग्रामीण उत्तर प्रदेश में जाति पदानुक्रम तथा शक्ति संरचना किस प्रकार संसाधनों तथा अवसरों तक पहुँच को प्रभावित करते हैं ? विवेचना कीजिए । (200 Words) [UPPSC 2023]
ग्रामीण उत्तर प्रदेश में जाति पदानुक्रम और शक्ति संरचना का संसाधनों और अवसरों पर प्रभाव 1. जाति पदानुक्रम: ग्रामीण उत्तर प्रदेश में जाति पदानुक्रम गहराई से जड़े हुए हैं, जो संसाधनों और अवसरों तक पहुँच को प्रभावित करते हैं। उच्च जातियों, जैसे ब्राह्मण और ठाकुर, अक्सर भूमि स्वामित्व और सरकारी नौकरियोंRead more
ग्रामीण उत्तर प्रदेश में जाति पदानुक्रम और शक्ति संरचना का संसाधनों और अवसरों पर प्रभाव
1. जाति पदानुक्रम: ग्रामीण उत्तर प्रदेश में जाति पदानुक्रम गहराई से जड़े हुए हैं, जो संसाधनों और अवसरों तक पहुँच को प्रभावित करते हैं। उच्च जातियों, जैसे ब्राह्मण और ठाकुर, अक्सर भूमि स्वामित्व और सरकारी नौकरियों पर नियंत्रण रखते हैं। इसके विपरीत, नीचली जातियाँ जैसे दलित और आदिवासी आमतौर पर भूमिहीन होती हैं और उनके पास सीमित संसाधन होते हैं। उदाहरण के लिए, मैनपुरी जिले में कई दलित परिवारों को भूमि सुधार योजनाओं का लाभ नहीं मिलता, जो कि उच्च जातियों के दबदबे के कारण होता है।
2. शक्ति संरचना: स्थानीय शक्ति संरचनाएँ, जो अक्सर उच्च जातियों द्वारा नियंत्रित होती हैं, सरकारी योजनाओं और सर्विसेस के वितरण में पक्षपाती हो सकती हैं। जैसे, प्रधान और ग्राम सचिव अक्सर योजनाओं का लाभ उच्च जाति के लोगों को अधिक प्राथमिकता देते हैं, जिससे नीचली जातियों के लोगों को सार्वजनिक सेवाओं और सुबिधाओं तक पहुँच में बाधाएँ आती हैं।
3. सामाजिक बहिष्कार: जातिगत भेदभाव और सामाजिक पदानुक्रम सामाजिक और आर्थिक बहिष्कार को जन्म देते हैं। जैसे कि निःशुल्क स्कूलों और स्वास्थ्य सुविधाओं में भी जातिगत भेदभाव देखा जाता है, जिससे नीचली जातियों के बच्चों और परिवारों को शिक्षा और स्वास्थ्य में पर्याप्त अवसर नहीं मिलते।
4. सरकारी प्रयास और चुनौतियाँ: सरकार ने आरक्षण और भूमि सुधार जैसी योजनाओं के माध्यम से जातिगत भेदभाव को कम करने की कोशिश की है, लेकिन प्रवर्तन की कमी और स्थानीय प्रतिरोध इन पहलों की प्रभावशीलता को सीमित करते हैं।
सारांश में, ग्रामीण उत्तर प्रदेश में जाति पदानुक्रम और शक्ति संरचनाएँ संसाधनों और अवसरों की पहुँच को प्रभावित करती हैं, जिससे उच्च जातियों को अधिक लाभ और नीचली जातियों को निरंतर भेदभाव का सामना करना पड़ता है।
See lessप्राथमिक एवं उच्च प्राथमिक विद्यालयों को आदर्श विद्यालयों में बदलने के प्रयासों में 'आपरेशन कायाकल्प' कितना महत्वपूर्ण रहा है? विश्लेषण कीजिए । (125 Words) [UPPSC 2023]
'आपरेशन कायाकल्प' की महत्वपूर्ण भूमिका 1. अवसंरचना सुधार: 'आपरेशन कायाकल्प' ने प्राथमिक और उच्च प्राथमिक विद्यालयों की अवसंरचना में सुधार किया है। स्कूलों में सुविधाजनक कक्षाएं, स्वच्छता सुधार, और आधुनिक सुविधाएं जोड़ी गई हैं, जिससे पढ़ाई का माहौल बेहतर हुआ है। उदाहरण के लिए, उत्तर प्रदेश और बिहार कRead more
‘आपरेशन कायाकल्प’ की महत्वपूर्ण भूमिका
1. अवसंरचना सुधार: ‘आपरेशन कायाकल्प’ ने प्राथमिक और उच्च प्राथमिक विद्यालयों की अवसंरचना में सुधार किया है। स्कूलों में सुविधाजनक कक्षाएं, स्वच्छता सुधार, और आधुनिक सुविधाएं जोड़ी गई हैं, जिससे पढ़ाई का माहौल बेहतर हुआ है। उदाहरण के लिए, उत्तर प्रदेश और बिहार के कई स्कूलों में इन सुधारों से कक्षा की उपस्थिति और स्वच्छता स्तर में सुधार हुआ है।
2. शिक्षा की गुणवत्ता में वृद्धि: इस कार्यक्रम के तहत इंटरैक्टिव लर्निंग टूल्स और अपडेटेड पाठ्यक्रम लागू किए गए हैं। इससे शैक्षिक प्रदर्शन में सुधार हुआ है, और छात्रों की शिक्षा में रुचि बढ़ी है।
3. सामुदायिक भागीदारी: ‘आपरेशन कायाकल्प’ सामुदायिक भागीदारी को प्रोत्साहित करता है, जिससे स्थानीय लोग विद्यालय प्रबंधन और सुरक्षा में योगदान करते हैं, और इससे स्वामित्व की भावना विकसित होती है।
इस प्रकार, ‘आपरेशन कायाकल्प’ ने विद्यालयों की अवसंरचना सुधार, शिक्षा की गुणवत्ता में वृद्धि, और सामुदायिक भागीदारी के माध्यम से आदर्श विद्यालयों के निर्माण में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।
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