‘नैतिक अंतर्ज्ञान’ से ‘नैतिक तर्कशक्ति’ का अन्तर स्पष्ट करते हुए उचित उदाहरण दीजिए । (150 words)[UPSC 2023]
ई.क्यू. की महत्वपूर्णता पर सहमति सफलता के लिए ई.क्यू. (भावनात्मक बुद्धिमत्ता): सफलता के लिए भावनात्मक कौशल जैसे आत्म-जागरूकता, सहानुभूति, और भावनात्मक नियंत्रण अत्यधिक महत्वपूर्ण हैं। सत्य नडेला, माइक्रोसॉफ्ट के CEO, ने सहानुभूति को एक महत्वपूर्ण नेतृत्व गुण के रूप में प्रमोट किया, जिससे कंपनी में सRead more
ई.क्यू. की महत्वपूर्णता पर सहमति
सफलता के लिए ई.क्यू. (भावनात्मक बुद्धिमत्ता): सफलता के लिए भावनात्मक कौशल जैसे आत्म-जागरूकता, सहानुभूति, और भावनात्मक नियंत्रण अत्यधिक महत्वपूर्ण हैं। सत्य नडेला, माइक्रोसॉफ्ट के CEO, ने सहानुभूति को एक महत्वपूर्ण नेतृत्व गुण के रूप में प्रमोट किया, जिससे कंपनी में सकारात्मक परिवर्तन और सफलता प्राप्त हुई। यह उदाहरण दर्शाता है कि ई.क्यू. अकेले संज्ञानात्मक क्षमताओं की तुलना में अधिक प्रभावी हो सकता है।
चरित्र और खुशी: ई.क्यू. चरित्र निर्माण और खुशी के लिए भी आवश्यक है। डैनियल गोलमैन की शोध बताती है कि उच्च ई.क्यू. वाले व्यक्ति तनाव प्रबंधन, संघर्ष समाधान, और मजबूत रिश्तों में बेहतर होते हैं, जो व्यक्तिगत संतोष और खुशी को बढ़ाते हैं।
जीवन-भर की उपलब्धियाँ: दीर्घकालिक उपलब्धियों के लिए ई.क्यू. लचीलापन और अनुकूलता प्रदान करता है। मलाला यूसुफजई की संघर्ष और भावनात्मक दृढ़ता ने उन्हें शिक्षा के क्षेत्र में महत्वपूर्ण योगदान देने में सक्षम बनाया, जो केवल संज्ञानात्मक क्षमताओं से संभव नहीं था।
इस प्रकार, ई.क्यू. संपूर्ण सफलता, चरित्र विकास, और स्थायी खुशी के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण है।
See less
नैतिक अंतर्ज्ञान और नैतिक तर्कशक्ति में अंतर नैतिक अंतर्ज्ञान: नैतिक अंतर्ज्ञान वह स्वचालित और तात्कालिक नैतिक निर्णय है जो भावनात्मक प्रतिक्रिया या आदतों पर आधारित होता है। उदाहरण के तौर पर, दया और करुणा की भावना से किसी गरीब को मदद करने की तत्परता दिखाना नैतिक अंतर्ज्ञान का एक उदाहरण है। यह भावनाRead more
नैतिक अंतर्ज्ञान और नैतिक तर्कशक्ति में अंतर
नैतिक अंतर्ज्ञान: नैतिक अंतर्ज्ञान वह स्वचालित और तात्कालिक नैतिक निर्णय है जो भावनात्मक प्रतिक्रिया या आदतों पर आधारित होता है। उदाहरण के तौर पर, दया और करुणा की भावना से किसी गरीब को मदद करने की तत्परता दिखाना नैतिक अंतर्ज्ञान का एक उदाहरण है। यह भावना तुरंत उत्पन्न होती है और सोच-विचार की प्रक्रिया के बिना आंतरिक विश्वासों और सांस्कृतिक मान्यताओं पर आधारित होती है।
नैतिक तर्कशक्ति: नैतिक तर्कशक्ति में नैतिक मुद्दों पर सावधानीपूर्वक और तर्कसंगत विचार शामिल होता है, जिसमें तर्क, मूल्य और परिणामों का विश्लेषण किया जाता है। उदाहरण के लिए, वातावरण संरक्षण के लिए सरकारी नीतियों पर चर्चा करते समय, नीति निर्माता तर्कशक्ति का उपयोग करते हैं। वे विभिन्न पर्यावरणीय प्रभावों और भविष्य की पीढ़ियों के प्रति नैतिक जिम्मेदारियों का विश्लेषण करते हैं, न कि केवल भावनात्मक प्रतिक्रियाओं पर निर्भर होते हैं।
इस प्रकार, नैतिक अंतर्ज्ञान तात्कालिक और भावनात्मक निर्णय प्रदान करता है, जबकि नैतिक तर्कशक्ति गहरे विचार और विश्लेषण पर आधारित होता है।
See less