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भारतीय संविधान में निहित मौलिक अधिकार की तीन प्रमुख विशेषताओं को इंगित कीजिए ।
मौलिक अधिकार की प्रमुख विशेषताएँ समानता: सभी नागरिकों को समान अधिकार और अवसर मिलते हैं। स्वतंत्रता: व्यक्ति को अभिव्यक्ति और आंदोलन की स्वतंत्रता है। संरक्षण: मौलिक अधिकारों का उल्लंघन होने पर न्यायालय में अपील की जा सकती है।
मौलिक अधिकार की प्रमुख विशेषताएँ
उद्देश्य प्रस्ताव' से आप क्या समझते हैं ?
उद्देश्य प्रस्ताव परिभाषा उद्देश्य प्रस्ताव एक औपचारिक दस्तावेज है, जिसमें किसी कार्य या परियोजना का उद्देश्य स्पष्ट किया जाता है। विशेषताएँ स्पष्टता: यह उद्देश्य को स्पष्ट रूप से दर्शाता है। निर्धारण: यह बताता है कि काम क्यों किया जा रहा है। उदाहरण शैक्षिक प्रोजेक्ट: "इस प्रोजेक्ट का उद्देश्य छात्रRead more
उद्देश्य प्रस्ताव
परिभाषा
उद्देश्य प्रस्ताव एक औपचारिक दस्तावेज है, जिसमें किसी कार्य या परियोजना का उद्देश्य स्पष्ट किया जाता है।
विशेषताएँ
उदाहरण
वैश्विक पोजिशनिंग सिस्टम (जी.पी.एस.) क्या है और यह कैसे कार्य करता है ?
वैश्विक पोजिशनिंग सिस्टम (जी.पी.एस.) क्या है? परिचय वैश्विक पोजिशनिंग सिस्टम (GPS) एक उपग्रह आधारित प्रणाली है जो किसी भी स्थान की सटीक जानकारी प्रदान करती है। इसका उपयोग यात्रा, मैपिंग, और आपातकालीन सेवाओं में किया जाता है। जी.पी.एस. कैसे कार्य करता है? उपग्रहों का नेटवर्क: जी.पी.एस. में 24 से अधिकRead more
वैश्विक पोजिशनिंग सिस्टम (जी.पी.एस.) क्या है?
परिचय
वैश्विक पोजिशनिंग सिस्टम (GPS) एक उपग्रह आधारित प्रणाली है जो किसी भी स्थान की सटीक जानकारी प्रदान करती है। इसका उपयोग यात्रा, मैपिंग, और आपातकालीन सेवाओं में किया जाता है।
जी.पी.एस. कैसे कार्य करता है?
उपयोग
निष्कर्ष
जी.पी.एस. एक अत्यंत महत्वपूर्ण तकनीक है जो हमारे जीवन को आसान बनाती है। इसके माध्यम से हम न केवल यात्रा कर सकते हैं, बल्कि अपनी स्थिति को भी सटीकता से जान सकते हैं।
See lessसुदूर संवेदन सिद्धांत को समझाइए ।
सुदूर संवेदन सिद्धांत परिचय सुदूर संवेदन एक तकनीकी प्रक्रिया है जिसका उपयोग पृथ्वी की सतह से डेटा एकत्र करने के लिए किया जाता है। इसमें उपग्रहों, विमानों या ड्रोन का उपयोग करके विभिन्न प्रकार की जानकारी प्राप्त की जाती है। सिद्धांत की विशेषताएँ डेटा संग्रहण: सुदूर संवेदन में डेटा को एकत्र करने के लिRead more
सुदूर संवेदन सिद्धांत
परिचय
सुदूर संवेदन एक तकनीकी प्रक्रिया है जिसका उपयोग पृथ्वी की सतह से डेटा एकत्र करने के लिए किया जाता है। इसमें उपग्रहों, विमानों या ड्रोन का उपयोग करके विभिन्न प्रकार की जानकारी प्राप्त की जाती है।
सिद्धांत की विशेषताएँ
लाभ
निष्कर्ष
सुदूर संवेदन सिद्धांत आधुनिक तकनीक का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है, जो हमें पृथ्वी की सतह से महत्वपूर्ण जानकारी प्रदान करता है। इसके माध्यम से हम विभिन्न क्षेत्रों में विकास और सुरक्षा के लिए सही निर्णय ले सकते हैं।
See lessआपदा निवारण क्या है, आपदा निवारण में जानकारी की भूमिका स्पष्ट करें।
आपदा निवारण क्या है? परिचय आपदा निवारण का मतलब है ऐसी प्रक्रियाएँ और उपाय जो प्राकृतिक या मानव-निर्मित आपदाओं के प्रभाव को कम करने के लिए अपनाए जाते हैं। इसका मुख्य उद्देश्य जनसंख्या की सुरक्षा और संसाधनों का संरक्षण करना है। आपदा निवारण के चरण पूर्व-आपदा तैयारी: जानकारी और जागरूकता: लोगों को आपदा कRead more
आपदा निवारण क्या है?
परिचय
आपदा निवारण का मतलब है ऐसी प्रक्रियाएँ और उपाय जो प्राकृतिक या मानव-निर्मित आपदाओं के प्रभाव को कम करने के लिए अपनाए जाते हैं। इसका मुख्य उद्देश्य जनसंख्या की सुरक्षा और संसाधनों का संरक्षण करना है।
आपदा निवारण के चरण
जानकारी की भूमिका
निष्कर्ष
आपदा निवारण केवल आपातकालीन प्रतिक्रिया नहीं है, बल्कि यह एक समग्र प्रक्रिया है जिसमें जानकारी की भूमिका अत्यंत महत्वपूर्ण है। सही जानकारी के साथ, हम आपदाओं के प्रभाव को कम कर सकते हैं और समाज को सुरक्षित रख सकते हैं।
See lessजल प्रदूषण नियंत्रण के उपाय बताइये ।
जल प्रदूषण नियंत्रण के उपाय परिचय जल प्रदूषण आज एक गंभीर समस्या बन चुकी है। इसका प्रभाव मानव स्वास्थ्य, पारिस्थितिकी और जलवायु पर पड़ता है। इसलिए इसे नियंत्रित करने के लिए उचित उपायों की आवश्यकता है। उपाय 1. औद्योगिक अपशिष्ट प्रबंधन अपशिष्ट का उपचार: उद्योगों को अपने अपशिष्ट का उचित उपचार करना चाहिएRead more
जल प्रदूषण नियंत्रण के उपाय
परिचय
जल प्रदूषण आज एक गंभीर समस्या बन चुकी है। इसका प्रभाव मानव स्वास्थ्य, पारिस्थितिकी और जलवायु पर पड़ता है। इसलिए इसे नियंत्रित करने के लिए उचित उपायों की आवश्यकता है।
उपाय
1. औद्योगिक अपशिष्ट प्रबंधन
2. नदियों और जलाशयों की सफाई
3. कृषि में रासायनिक उर्वरकों का उपयोग कम करना
4. जागरूकता कार्यक्रम
5. पुनर्चक्रण और पुनः उपयोग
निष्कर्ष
जल प्रदूषण को नियंत्रित करने के लिए समर्पित प्रयासों की आवश्यकता है। सभी को मिलकर इस दिशा में कार्य करना होगा ताकि हम स्वच्छ जल का संरक्षण कर सकें। इस तरह हम अपने पर्यावरण और स्वास्थ्य को सुरक्षित रख सकते हैं।
See lessमालवा पठार की भू-आकृति का वर्णन कीजिये ।
मालवा पठार की भू-आकृति परिचय मालवा पठार भारत के मध्य भाग में स्थित एक महत्वपूर्ण भू-आकृति है। यह पठार विशेष रूप से मध्य प्रदेश राज्य में फैला हुआ है और इसकी भू-आकृति विविधता से भरी हुई है। भू-आकृति की विशेषताएँ ऊँचाई और विस्तार: मालवा पठार की औसत ऊँचाई लगभग 500 से 600 मीटर है। यह क्षेत्र लगभग 90,000Read more
मालवा पठार की भू-आकृति
परिचय
मालवा पठार भारत के मध्य भाग में स्थित एक महत्वपूर्ण भू-आकृति है। यह पठार विशेष रूप से मध्य प्रदेश राज्य में फैला हुआ है और इसकी भू-आकृति विविधता से भरी हुई है।
भू-आकृति की विशेषताएँ
मिट्टी और जलवायु
निष्कर्ष
मालवा पठार की भू-आकृति इसके प्राकृतिक संसाधनों और कृषि उत्पादन के लिए बहुत महत्वपूर्ण है। यहाँ की पहाड़ियाँ, नदियाँ, और मिट्टी मिलकर इस क्षेत्र की विशेषता को दर्शाती हैं। इस प्रकार, मालवा पठार भारतीय भूगोल में एक विशेष स्थान रखता है।
See lessमध्यप्रदेश में कपास के भंडार और उत्पादन का वितरण लिखिये ।
मध्यप्रदेश में कपास के भंडार और उत्पादन का वितरण मध्यप्रदेश, जो कि भारत का एक प्रमुख कृषि राज्य है, कपास के उत्पादन में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। यहाँ कपास की खेती विशेष रूप से सूखी और गर्म जलवायु वाले क्षेत्रों में की जाती है। कपास का भंडार मुख्य क्षेत्र: मध्यप्रदेश के प्रमुख जिलों में बैतूल,Read more
मध्यप्रदेश में कपास के भंडार और उत्पादन का वितरण
मध्यप्रदेश, जो कि भारत का एक प्रमुख कृषि राज्य है, कपास के उत्पादन में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। यहाँ कपास की खेती विशेष रूप से सूखी और गर्म जलवायु वाले क्षेत्रों में की जाती है।
कपास का भंडार
उत्पादन का वितरण
निष्कर्ष
मध्यप्रदेश में कपास का भंडार और उत्पादन, कृषि अर्थव्यवस्था का महत्वपूर्ण हिस्सा है। इसके उत्पादन में वृद्धि के लिए किसानों को आधुनिक तकनीकों और बाजार के सही ज्ञान की आवश्यकता है, जिससे वे अधिक लाभ कमा सकें। कपास केवल एक फसल नहीं, बल्कि कई किसानों के जीवन का आधार भी है।
See lessभारत में मानसून की उत्पत्ति पर विवेचना कीजिये ।
भारत में मानसून की उत्पत्ति भारत में मानसून की उत्पत्ति एक जटिल प्रक्रिया है, जो मुख्यतः समुद्र और भूमि के तापमान के भिन्नता पर निर्भर करती है। यह प्रक्रिया हर साल जून से सितंबर तक चलती है और कृषि के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण होती है। मानसून की प्रक्रिया समुद्री तापमान: मानसून की शुरुआत बंगाल की खाड़ी औRead more
भारत में मानसून की उत्पत्ति
भारत में मानसून की उत्पत्ति एक जटिल प्रक्रिया है, जो मुख्यतः समुद्र और भूमि के तापमान के भिन्नता पर निर्भर करती है। यह प्रक्रिया हर साल जून से सितंबर तक चलती है और कृषि के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण होती है।
मानसून की प्रक्रिया
मानसून के चरण
निष्कर्ष
मानसून की प्रक्रिया न केवल भारत की जलवायु को प्रभावित करती है, बल्कि यह कृषि, जल संसाधन और जीवनशैली पर भी गहरा असर डालती है। सही समय पर बारिश फसल उत्पादन के लिए अत्यंत आवश्यक है, जिससे किसानों की आर्थिक स्थिति प्रभावित होती है।
See lessकोपेन एवं थार्नथ्वेट के अनुसार भारत को जलवायु क्षेत्रों में बाँटिये ।
कोपेन और थार्नथ्वेट के अनुसार भारत की जलवायु क्षेत्र भारत की जलवायु को समझने के लिए कोपेन और थार्नथ्वेट द्वारा विकसित वर्गीकरण महत्वपूर्ण है। दोनों विद्वानों ने विभिन्न जलवायु क्षेत्रों का निर्धारण विभिन्न मानदंडों के आधार पर किया है। कोपेन प्रणाली के अनुसार कोपेन प्रणाली में भारत की जलवायु को चार मRead more
कोपेन और थार्नथ्वेट के अनुसार भारत की जलवायु क्षेत्र
भारत की जलवायु को समझने के लिए कोपेन और थार्नथ्वेट द्वारा विकसित वर्गीकरण महत्वपूर्ण है। दोनों विद्वानों ने विभिन्न जलवायु क्षेत्रों का निर्धारण विभिन्न मानदंडों के आधार पर किया है।
कोपेन प्रणाली के अनुसार
कोपेन प्रणाली में भारत की जलवायु को चार मुख्य श्रेणियों में बाँटा गया है:
थार्नथ्वेट प्रणाली के अनुसार
थार्नथ्वेट ने जलवायु को मुख्यतः निम्नलिखित श्रेणियों में वर्गीकृत किया है:
निष्कर्ष
भारत की जलवायु विविधता इसे कृषि, वन्यजीव और सांस्कृतिक गतिविधियों के लिए उपयुक्त बनाती है। कोपेन और थार्नथ्वेट की जलवायु वर्गीकरण प्रणाली इस विविधता को समझने में मदद करती है।
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