शुष्कता और सूखे के मध्य अंतर पर प्रकाश डालते हुए सूखे के बहुआयामी प्रभाव पर चर्चा कीजिए। (उत्तर 150 शब्दों में दें)
महासागरीय जल धाराएं पृथ्वी के जलवायु और समुद्री जीवन के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण हैं। ये धाराएं गर्म और ठंडे पानी को भूमध्य रेखा से ध्रुवों तक और ध्रुवों से भूमध्य रेखा की ओर ले जाती हैं, जिससे वैश्विक तापमान का संतुलन बना रहता है। उदाहरण के लिए, गल्फ स्ट्रीम उत्तर-पश्चिमी यूरोप को अपेक्षाकृत गर्म रखतीRead more
महासागरीय जल धाराएं पृथ्वी के जलवायु और समुद्री जीवन के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण हैं। ये धाराएं गर्म और ठंडे पानी को भूमध्य रेखा से ध्रुवों तक और ध्रुवों से भूमध्य रेखा की ओर ले जाती हैं, जिससे वैश्विक तापमान का संतुलन बना रहता है। उदाहरण के लिए, गल्फ स्ट्रीम उत्तर-पश्चिमी यूरोप को अपेक्षाकृत गर्म रखती है, जबकि कैलिफोर्निया धारा पश्चिमी अमेरिका को ठंडा करती है।
जल धाराएं महासागरीय पोषक तत्वों का वितरण भी सुनिश्चित करती हैं, जिससे समुद्री जीवन को आवश्यक पोषण मिलता है। ये धाराएं प्लवक, मछलियों और अन्य समुद्री जीवों के आवास क्षेत्रों में पोषक तत्वों की आपूर्ति करती हैं, जिससे मछली पालन और जैव विविधता को बढ़ावा मिलता है। इसके अलावा, महासागरीय धाराएं कार्बन डाइऑक्साइड के अवशोषण में भी सहायक होती हैं, जो वैश्विक जलवायु परिवर्तन को नियंत्रित करने में मदद करती हैं। इस प्रकार, महासागरीय जल धाराएं पृथ्वी के पर्यावरण और समुद्री पारिस्थितिकी तंत्र में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं।
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शुष्कता और सूखा दोनों शब्द जलवायु और पर्यावरण से संबंधित हैं, लेकिन इनका अंतर महत्वपूर्ण है। शुष्कता किसी क्षेत्र की सामान्य जलवायु स्थिति को दर्शाती है, जिसमें कम वर्षा होती है, जैसे रेगिस्तानी या अर्द्ध-रेगिस्तानी क्षेत्र। यह स्थिति लंबे समय से बनी रहती है और एक क्षेत्र की जलवायु का हिस्सा होती हैRead more
शुष्कता और सूखा दोनों शब्द जलवायु और पर्यावरण से संबंधित हैं, लेकिन इनका अंतर महत्वपूर्ण है।
शुष्कता किसी क्षेत्र की सामान्य जलवायु स्थिति को दर्शाती है, जिसमें कम वर्षा होती है, जैसे रेगिस्तानी या अर्द्ध-रेगिस्तानी क्षेत्र। यह स्थिति लंबे समय से बनी रहती है और एक क्षेत्र की जलवायु का हिस्सा होती है।
सूखा एक असामान्य स्थिति है, जब एक क्षेत्र में अपेक्षित मात्रा में वर्षा नहीं होती और इसका असर तत्काल और गंभीर होता है। सूखा शुष्कता की तुलना में अस्थायी और अधिक तीव्र होता है।
सूखे के बहुआयामी प्रभाव निम्नलिखित हैं:
इस प्रकार, सूखा एक गंभीर समस्या है जिसका बहुआयामी प्रभाव समाज और पर्यावरण पर पड़ता है।
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